केरल के प्रमोदम में बुधवार सुबह उस समय अफरा-तफरी मच गई जब राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के हेलिकॉप्टर की लैंडिंग के तुरंत बाद हेलीपैड का एक हिस्सा धंस गया। घटना उस वक्त हुई जब राष्ट्रपति एक आधिकारिक कार्यक्रम में भाग लेने के लिए केरल पहुंचीं। राहत की बात यह रही कि राष्ट्रपति पहले ही हेलिकॉप्टर से उतर चुकी थीं, इसलिए किसी प्रकार की चोट या अनहोनी की खबर नहीं है।
हादसा सुबह लगभग 11 बजे हुआ, जब राष्ट्रपति का हेलिकॉप्टर निर्धारित हेलीपैड पर उतरा। लैंडिंग के कुछ क्षणों बाद ही हेलीपैड की सतह का एक हिस्सा अचानक धंस गया और हेलिकॉप्टर का एक पहिया उसमें फंस गया। इससे हेलिकॉप्टर थोड़ी देर के लिए असंतुलित हो गया। इस अप्रत्याशित घटना के बाद सुरक्षा एजेंसियां सतर्क हो गईं और तुरंत पूरे इलाके को घेर लिया गया।
इस हादसे में सबसे राहत की बात यह रही कि राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू हेलिकॉप्टर से पहले ही उतर चुकी थीं। जैसे ही हेलिकॉप्टर ने ज़मीन को छुआ, राष्ट्रपति को उतारा गया और उसके कुछ ही क्षण পর हेलीपैड का एक हिस्सा धंस गया। अगर यह घटना कुछ सेकंड पहले होती, तो स्थिति कहीं ज़्यादा गंभीर हो सकती थी। हादसे के तुरंत बाद स्थानीय प्रशासन, एयरफोर्स और सुरक्षा बलों के अधिकारी मौके पर पहुंच गए। तकनीकी विशेषज्ञों की एक टीम हेलिकॉप्टर की जांच में जुट गई। हेलिपैड की सतह क्यों धंसी, यह जानने के लिए निर्माण सामग्री और गुणवत्ता की समीक्षा की जा रही है। प्रारंभिक जांच में यह आशंका जताई जा रही है कि हेलीपैड का निर्माण मानकों के अनुरूप नहीं किया गया था।
राष्ट्रपति सचिवालय की ओर से जारी एक बयान में कहा गया, “राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू पूरी तरह सुरक्षित हैं। हेलिकॉप्टर लैंडिंग के बाद हेलीपैड की सतह का एक हिस्सा धंस गया, जिससे हेलिकॉप्टर का एक पहिया उसमें फंस गया। लेकिन यह एक मामूली घटना थी और किसी को कोई नुकसान नहीं हुआ।”
वहीं केरल सरकार ने इस मामले की उच्च स्तरीय जांच के आदेश दे दिए हैं। राज्य सरकार ने एक तकनीकी समिति गठित की है, जो हेलीपैड के निर्माण, गुणवत्ता और सुरक्षा मानकों की जांच करेगी।